Vehicle Ownership Transfer कैसे करें? जानें पूरी प्रक्रिया
भारत में अब लगभग हर किसी नागरिक के पास अपना खुद का एक वाहन है, तथा जिनके पास अभी तक खुद का वाहन नहीं है, वे जल्द ही नए वाहन को खोजने की योजना बना रहे हैं, इसके अलावा वाहनों की खरीद-फरोख्त हर समय चलती रहती है, वाहन संबंधित सेवाओं को आसान बनाने के लिए परिवहन विभाग भारत सरकार ने Vahan 4.0 पोर्टल की शुरुआत की है, जिसकी मदद से वाहन से जुड़ी सारी सेवाओं को एक जगह लिस्ट किया गया है।
इसकी मदद से अब देश का कोई भी नागरिक अपने वाहन से जुड़ी जानकारी को एक क्लिक में प्राप्त कर सकता है. ऐसे में अगर आप भी एक ऐसे नागरिक हैं, जिसके पास खुद का एक वाहन है, और आप अपना वाहन बेचना चाहते हैं, या आप एक ग्राहक हैं, जो किसी और का वाहन खरीदना चाहते हैं, और आप यह जानना चाहते हैं, कि Vehicle Ownership Transfer कैसे होता है? तो आज मैं आपको इस लेख की मदद से यह बताऊंगा कि Car Owner Details या RC को आप कैसे ट्रांसफर कर सकते हैं.
- वाहन नंबर का विवरण जानें
- RTO Vehicle Information देखें
- Vehicle Duplicate RC प्राप्त करें
- नंबर प्लेट से वाहन मालिक का नाम
- Registration Number पता करें
- वाहन रजिस्ट्रेशन डिटेल्स निकालें
- Vehicle RC Status Check करें
- Vehicle RC Renewal करें
- Vehicle का इंश्योरेंस स्टेटस चेक करें
- गाड़ी का कागज या पेपर चेक करें
Vaahan 4.0 पोर्टल का संक्षिप्त विवरण
पोर्टल का नाम | परिवहन (वाहन पोर्टल) भारत सरकार |
लेख का नाम | Vehicle Ownership Transfer |
पोर्टल का उद्देश्य | नागरिकों को वाहन संबंधित सेवाएं प्रदान करना |
आधिकारिक वेबसाइट | https://vahan.parivahan.gov.in/vahan/vahan/ui/login/login.xhtml |
लाभार्थी | भारत के नागरिक |
Vehicle Ownership Transfer का उद्देश्य
कभी-कभी देश के नागरिकों को वाहन के खरीद-फरोख्त के समय Vehicle Ownership Transfer करने की जरुरत पड़ती है, ऐसा करने से उस वाहन के मालिक का नाम RC पर बदल जाता है, तथा वह वाहन आधिकारिक रूप से उसका हो जाता है, जिसको वह बेचा जा रहा है, परिवहन विभाग के आधिकारिक पोर्टल Vahan की मदद से अब यह प्रक्रिया बेहद ही आसान हो गई है. इसके अलावा अगर आप इस प्रक्रिया को विस्तारपूर्वक जानना चाहते हैं, तो आप इस लेख को अंत तक पढ़ सकते हैं.
सामान्य बिक्री के मामले में Vehicle Ownership Transfer
जब कोई वाहन बेचा जाता है, तो पिछले पंजीकृत मालिक के स्थान पर खरीदार का नाम पंजीकृत मालिक के रूप में दर्ज किया जाता है और इस प्रक्रिया को स्वामित्व के हस्तांतरण (Vehicle Transfer) के रूप में जाना जाता है।
वाहन के मालिक के मृत्यु पर Vehicle का ट्रांसफर
जब किसी वाहन के पंजीकृत मालिक की मृत्यु हो जाती है, तो स्वामित्व का ट्रांसफर मृतक व्यक्ति के उत्तराधिकारियों को कर दिया जाता है। वाहन मालिक के मृत्यु के होने के बाद उत्तराधिकारी को 30 दिनों के भीतर RTO में सूचित करना पड़ता है, कि अब वह उस वाहन पर मालिकाना हक प्राप्त करना चाहता है।
नीलामी में खरीदे वाहन का Transfer
जब वाहन की सार्वजनिक नीलामी की जाती है, तब उस नीलामी में बेचे गए वाहन को उसके खरीदार के नाम पर ट्रांसफर किया जाता है।
- ड्राइविंग लाइसेंस डाउनलोड करें
- Vehicle Ownership Transfer करें
- ड्राइविंग लाइसेंस का नवीनीकरण करें
- वाहन के लिए VIP या फैंसी नंबर प्लेट प्राप्त करें
- NOC for Vehicle, RTO Online, पूरी Process और Requirements
- लर्निंग लाइसेंस के लिए ऑनलाइन आवेदन करें
- डुप्लीकेट ड्राइविंग लाइसेंस के लिए आवेदन करें
- कंडक्टर लाइसेंस के लिए ऑनलाइन आवेदन करें
- ड्राइविंग लाइसेंस स्लॉट बुकिंग करें
- ई-चालान स्टेटस कैसे चेक करें
Vehicle Ownership Transfer प्रक्रिया
यदि वाहन बेच दिया गया है, किसी अन्य नागरिक को दे दिया गया है, या अगर वाहन मालिक की मृत्यु हो चुकी है, या आप ही अपना Vehicle Ownership Transfer करना चाहते हैं, तो आप निम्नलिखित प्रक्रियाओं का पालन कर सकते हैं-
- सबसे पहले आप वाहन पोर्टल की आधिकारिक Vahan पोर्टल https://vahan.parivahan.gov.in/vahanservice/vahan/ui/statevalidation/homepage.xhtml पर विजिट करें।

- इसके बाद आप अपने वाहन का रजिस्ट्रेशन नंबर डालें, इसके बाद अपने राज्य का चुनाव करें, और अपने RTO का चयन करें।
- अब आप नीचे दिए गए Proceed बटन पर क्लिक कर दें.
- इसके बाद आपके सामने Vahan Citizen Services का पेज खुल जाएगा.
- इस पेज पर आपको Apply For Ownership Transfer का विकल्प दिख जाएगा, आप इस विकल्प पर क्लिक कर दें.
- अब आपके सामने एक नया पेज खुलेगा, जहाँ आप अपना वाहन रजिस्ट्रेशन नंबर Chassis Number डालें, और Verify Details पर क्लिक कर दें.

- इसके बाद Application Section में मौजूद Transfer of Ownership पर क्लिक करें.
अब आप Transfer of Ownership Details के तहत निम्नलिखित विवरणों को दर्ज करें.
- नए मालिक का विवरण
- वर्त्तमान पता
- स्थायी पता
- बीमा विवरण
इसके बाद नए पेज पर आप Vehicle Ownership Transfer Fees का भुगतान करें.
अब आपको 29 और फॉर्म 30 दो रसीदें प्राप्त होंगी, अब विक्रेता और ग्राहक दोनों को इस फॉर्म पर हस्ताक्षर करना होगा, सारी प्रक्रियाओं के बाद आपका आवेदन आगे के प्रोसेस के लिए RTO द्वारा भेज दिया जाएगा, और कुछ दिनों में आपका वाहन नए मालिक के पास ट्रांसफर हो जाएगा.
- ई-चालान पेमेंट करें
- गाड़ी नंबर से चालान चेक करें
- Vehicle High Security Number HSRP ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करें
- वाहन पंजीकरण प्रक्रिया जानें
- mParivahan Download, Registration करें
- ड्राइविंग लाइसेंस स्टेटस चेक करें
- Driving (Learner) Licence Application Number खोजें
- वाहन के लिए प्रदूषण सर्टिफिकेट प्राप्त करें
- ड्राइविंग लाइसेंस नंबर ऑनलाइन खोजें
- स्थायी ड्राइविंग लाइसेंस आवेदन प्रक्रिया जानें
- RC बुक में पते को अपडेट करने की प्रक्रिया
Vehicle Ownership Transfer Fees
Vehicle Ownership Transfer Fees प्रत्येक प्रकार के वाहन के लिए अलग-अलग है, ऐसे में शुल्क आपके वाहन के प्रकार पर निर्भर करता है, नीचे हमने सभी वाहन के पराक्र और उनके ट्रांसफर डिटेल्स के बारे में विस्तार से बताया है-
वाहन का प्रकार | शुल्क |
Light Motor Vehicles for Non -Transport | ₹ 300 |
Light Motor Vehicles for Transport | ₹ 500 |
Medium Goods for passenger vehicles | ₹ 750 |
Medium vehicle for goods | ₹ 500 |
Heavy Vehicle for goods | ₹ 750 |
Vehicle ट्रांसफर के लिए जरुरी दस्तावेज
अगर आप अपना वाहन किसी और के नाम पर ट्रांसफर करना चाहते हैं, तो आपको निम्नलिखित दस्तावेजों की जरुरुत पड़ेगी-
- पंजीकरण प्रमाणपत्र – वाहन के विक्रेता के पास पंजीकरण प्रमाणपत्र होना चाहिए.
- एड्रेस प्रूफ दस्तावेज – बिजली, टेलीफोन, पानी, गैस, आदि होना चाहिए, जिसे वह अपने पते को वेरीफाई कर सके.
- कार बीमा प्रमाणपत्र – विक्रेता के पास बीमा प्रमाणपत्र होना चाहिए.
- पैन कार्ड – विक्रेता और खरीदार दोनों का पैन कार्ड भी जरुरी है.
- PUC Certificate – अप्रैल 2010 से पहले खरीदे गए वाहनों के लिए पीयूसी को हर 3 महीने में नवीनीकृत करना होगा, हालाँकि उसके बाद ख़रीदे गए वाहन का प्रदुषण सर्टिफिकेट सालाना बनवाना होगा, Vehicle Transfer के समय ये भी होना जरुरी है.
- फॉर्म – 28,29,30,32,35
इसके अलावा एनसीआरबी (राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो) द्वारा जारी किया गया पावती फॉर्म जमा करना पड़ सकता है। इससे यह पता चलता है, कि कहीं आपका वाहन आपराधिक गतिविधियों में तो शामिल नहीं था.